भारत में हर साल 24 जनवरी को नैशनल गर्ल चाइल्ड डे (National Girl Child day 2022) यानी बालिका दिवस मनाया जाता है। साल 2008 से आज के दिन ही ये दिवस मनाना शुरू किया गया। आपको बता दें की नैशनल गर्ल चाइल्ड डे मनाने की सबसे बड़ी वजह है समाज में बेटियों के प्रति लोगों को जागरूक करना। साथ ही लोगों को लड़कियों के अधिकारों, शिक्षा, स्वास्थ या उनके पोषण के बारे में जागरूक करना है।
क्यों मनाया जाता है बालिका दिवस (National Girl Child day 2022)
वहीँ भारत में एक दौर ऐसा भी था, जब बेटियों को पैदा होने से पहले ही मार दिया जाता था या लड़कियों की कम उम्र में शादी करवा दी जाती थी, जिसे बाल-विवाह का नाम दिया गया। लड़कियों को बोझ समझा जाता था। लेकिन अब लड़कियां भी पुरुषों से कंधे से कंधा मिलाकर चल रही हैं। लेकिन आज भी भारत में ऐसी कई जगाहें मौजूद हैं जहां लड़कियों को आगे मौका नहीं दिया जाता हैं। हालांकि अभी कई जगह पर लोगों की सोच बहुत छोटी है। ऐसे में कई परिवार हैं जो बेटियों को जन्म नहीं देना चाहते है। इसलिए उन्हें गर्भ में ही मार देते हैं या फिर पैदा होने के बाद भी खुश नहीं रहते हैं। ये दिन लोगों की सोच बदलने के साथ-साथ लड़कियों को उनके अधिकारों के बारे में जागरूक करने के लिए भी मनाया जाता।
क्यों 24 जनवरी को नैशनल गर्ल चाइल्ड डे मनाने के लिए चुना गया
गर्ल चाइल्ड डे (National Girl Child day 2022) को मनाने के लिए 24 जनवरी का दिन इसलिए चुना गया क्योंकि इसी दिन 1966 में इंदिरा गांधी ने भारत की पहली महिला प्रधानमंत्री के तौर पर शपथ ली थी। इस दिन देशभर में विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं, जिनमें लड़कियों के बचाव, उनको स्वास्थ और सुरक्षित वातावरण बनाने सहित जागरूकता कार्यक्रम शामिल हैं। इस दिन को मनाने का उद्देश्य समाज में बालिकाओं को उनके अधिकार के प्रति जागरूक करना है। पिछले साल 2021 में बालिका दिवस की थीम ‘डिजिटल पीढ़ी, हमारी पीढ़ी’ थी। वहीं, 2020 में ‘मेरी आवाज, हमारा समान भविष्य’ थीम रखी गई थी। हालांकि 2022 (National Girl Child day 2022) की थीम की घोषणा अभी तक नहीं की गई है।