पुणे: इंग्लैंड ने शुक्रवार को दूसरे एक दिवसीय मैच में टीम इंडिया को छह विकेट से हराकर तीन मैचों की सीरीज में 1-1 से बराबरी करते हुए तीसरे मैच को रोचक कर दिया है। रविवार को पुणे में ही सीरीज़ का तीसरा मैच खेला जाएगा। इंग्लैंड की ओर से ओपनर जॉनी बेयरस्टो और हरफनमौला बेन स्टोक्स के आक्रामक बल्लेबाजी की बदौलत भारत का 336 रन का स्कोर काफी सामान्य नजर आया। टीम इंडिया की करारी हार के पीछे धीमी बल्लेबाजी, स्पिनरों की विफलता, छठे गेंदबाज का विकल्प न होना प्रमुख रहे।
एकदिवसीय मैच में आम तौर पर 325 रन से ऊपर का टोटल बेहतर माना जाता है, लेकिन ऐसे टारगेट मौजूदा वर्ल्ड चैम्पियन इंग्लैंड के ऊपर लागू नहीं होते हैं। इंग्लैंड की टीम भले ही पहले वनडे हार गई हो, लेकिन यह ध्यान रखना चाहिए कि पहले मैच में भी एक समय 14 ओवर में उनका स्कोर 135 रन हो गया था। लिहाजा इंग्लैंड की टीम वर्तमान में 300 रन से ऊपर का टारगेट चेज करने में दुनिया की सबसे कामयाब टीम है।
भारतीय टीम ने लगातार दूसरे मैच में शुरुआती 30-35 ओवर में संभलकर बल्लेबाजी करने और विकेट बचाने को ही ध्यान में रखा। नतीज़न 35 ओवर में भारत का स्कोर 3 विकेट पर 173 रन था। इसी वजह से आखिरी 15 ओवरों में 163 रन जोड़ने के बावजूद भारत 336 रन ही बना पाया। वहीं इंग्लैंड ने अपने पहले 35 ओवर में ही 281 रन बना लिए। इंग्लैंड की टीम शुरुआत से ही आक्रामक बल्लेबाज़ी करती है, लिहाजा उसे बड़ा स्कोर चेज करने में भी खास परेशानी नहीं होती है।
एक और बात यह कि भारतीय टीम पहले वनडे की तरह इस मुकाबले में भी कुलदीप यादव और क्रुणाल पंड्या को खिलाया गया, ये दोनों बुरी तरह फ़्लॉप रहे। कुलदीप यादव ने 10 ओवर में 84 रन दिए। साथ ही क्रुणाल ने 6 ओवर में 72 रन दिए। इन दोनों को एक भी विकेट नहीं मिला। टीम में हार्दिक पंड्या थे, लेकिन उन्होंने गेंदबाजी नहीं की। बाद में कप्तान विराट कोहली ने बताया कि टीम मैनेजमेंट पंड्या को भविष्य के लिए फिट रखना चाह रहा है इसलिए उन पर वर्क लोड शिफ्ट किया जा रहा है। लिहाजा भारत के पास छठे गेंदबाज का विकल्प नहीं था और जो गेंदबाज पिट रहे थे, उन्हीं से गेंदबाजी करवाना टीम इंडिया की मजबूरी बन गई।
इंग्लैंड की पारी के 36वें ओवर में भुवनेश्वर कुमार ने बेन स्टोक्स को आउट किया। प्रसिद्ध कृष्णा ने 37वें ओवर में जॉनी बेयरस्टो और जोस बटलर को ऑउट किया। लेकिन तब तक बहुत देर हो चुकी थी। उस समय भी इंग्लैंड को 50 रनों की जरूरत थी और यदि एक-दो विकेट और जल्दी मिल जाते तो मैच टीम इंडिया की तरफ पलट पलट सकता था। कप्तान विराट कोहली ने दोनों ही गेंदबाजों को हटाकर फिर से कुलदीप और क्रुणाल को गेंदबाजी दी। दोनों फिर पिटे और भारत इस तरह मैच हार गया।